22 जून 2009

अब दखल है हमारी प्रादेशिक पत्रिका

दोस्तों
जैसा कि आप जानते हैं कि युवा संवाद की ग्वालियर इकाई पिछले दो सालों से युवा दखल का प्रकाशन कर रही थी...ऐसे ही भोपाल से दस्तक और उज्जैन से भी तरकश नाम से एक-एक पत्रिका युवा संवाद की स्थानीय इकाइयाँ निकाल रही थी। पिछले राज्य सम्मलेन में हमने तय किया था कि इन सबको मिलाकर संयुक्त रूप से एक राज्य स्तरीय पत्रिका निकाली जायेगी।
अब इस योजना को मूर्त रूप दिया जा रहा है। नयी पत्रिका का नाम होगा ''युवा संवाद की दखल '' और २० पेजी इस पत्रिका का मूल्य होगा केवल ५ रूपये। पत्रिका विचार, साहित्य तथा रोज़ ब रोज़ के तमाम मुद्दों पर केंद्रित होगी।
पहला अंक २७ सितम्बर ( भगत सिंह के जन्म दिवस पर जिसे हम युवा दिवस के रूप में मनाते हैं) को प्रदेश के अलग अलग जगहों पर लोकार्पित किया जाएगा। यह अंक युवा शक्ति और परिवर्तन के सवाल पर केंद्रित होगा ।
आपके विचार और सहयोग आमंत्रित हैं.

6 टिप्‍पणियां:

दिनेशराय द्विवेदी ने कहा…

इस पत्रिका का स्वागत है!

भास्कर रौशन ने कहा…

कामरेड,
ब्लागजगत में आप जैसे वैचारिक व गतिशील रचनाकारों की जरूरत है।
मैं भी आपसे जुड़ा रहूंगा। मिलकर काम करने के लिए एक ही राह में।

प्रसन्नवदन चतुर्वेदी 'अनघ' ने कहा…

पत्रिका का स्वागत है....बहुत बहुत बधाई.

शरद कोकास ने कहा…

इस प्रयास के लिये शुभ कामनायें मेरी सदस्यता अभी से दर्ज़ कर लो

Rangnath Singh ने कहा…

नाम कुछ अजीब है। युवा संवाद या सिर्फ दखल जो भी हो तो ठीक ही है। नाम वैसे भी एक जरिया भर है। मैगजीन का कंटेन्ट ही उसकी प्रवृत्ति को दर्शाता है।
नाम जो भी हो हमें इस मैगजीन का इंतजार रहेगा।

बेनामी ने कहा…
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